Hindi, asked by mithi1775, 21 days ago

श्री कृष्ण गीता में घोर निराशा में डूबे अर्जुन को युद्ध के लिए कैसे तैयार किया 50 शब्दों में लिखें​

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Answered by siwanikumari42
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Answer:

हिंदू पौराणिक कथाओं में गहराई से जुड़ा कुरूक्षेत्र भारत के हरियाणा राज्य का एक प्राचीन शहर है। कुरूक्षेत्र की ऐतिहासिक एवं सांस्कृतिक विरासत का महत्व इसी से लगाया जा सकता है कि कौरवों एवं पाण्डवों के मध्य कुरूक्षेत्र का ऐतिहासिक युद्ध लड़ा गया जिसमें श्रीकृष्ण ने अर्जुन को गीता का उपदेश देकर कर्म दर्शन का महत्व समझाया था। मनुस्मृति की रचना यहीं पर की थी। इस स्थान की प्राचीनता का बोध इसी से होता है कि ऋग्वेद एवं यजुर्वेद में अनेक स्थानों पर इस स्थल का वर्णन किया गया है। साथ ही पुराणों, स्मृतियों एवं वेद व्यास द्वारा रचित महाभारत महाकाव्य में भी इस स्थल का वर्णन आया है। हिन्दुओं का यह प्रमुख तीर्थ स्थल 1530 वर्ग किलीमीटर क्षेत्रफल में फैला हुआ है, जिसमें कुरूक्षेत्र के साथ-साथ कैथल, करनाल, पानीपत एवं जिन्द क्षेत्र शामिल हैं। बताया जाता है कि कौरवों एवं पाण्डवों के कुरू ने यहां तालाब खुदवाया था और उसी के नाम पर इस क्षेत्र का नाम कुरूक्षेत्र रखा गया। यहां अनेक दर्शनीय स्थल होने से कुरूक्षेत्र पर्यटकों के आकर्षण का केन्द्र है।

Answered by shreya727619
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Answer:

shri krishna ne arjun ko samjhaya ki kabhi bhi khroad me aa kar koi bhi faisla nhi lena chahiye. shri krishna ne kaha jo log apne mann par niyantran nhi karte unka mann satru ke saman kary karta hai . mann ka niyantran bahut jaruri hai. nhi to unhe anek pareshainiyo ka samna karna parta hai. koi bhi kaam karne se pahle khud par vishvas rakho. insaan apni vishwas se nirmit hota hai. jo jaisa vishwas karta hai wo waisa hi ban jata hai

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