Science, asked by sn4320277, 2 months ago

उत्तल व अवतल लैंस के बिंब की विभिनन सिथतियों के लिए बने प्रतिबिंब के किरण आरेख तथा सारणी बनाइए।​

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Answered by Matrix7777
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विज्ञान विषयः अध्याय-10… प्रकाश-परावर्तन तथा अपवर्तन

Update: Tuesday, February 18, 2020 @ 10:18 PM

विज्ञान विषयः अध्याय-10… प्रकाश-परावर्तन तथा अपवर्तन

प्रश्न 1. अवतल दर्पण के मुख्य फोकस की परिभाषा लिखिए। (H.P. 2013, Set-A)

उत्तर-अवतल दर्पण का मुख्य फोकस, मुख्य अक्ष पर एक ऐसा बिंदु है जहाँ पर दर्पण के मुख्य अक्ष के समांतर काश किरण, परावर्तन के पश्चात् मिलती है। इसे ‘F’ से दर्शाते हैं।

प्रश्न 2. एक गोलीय दर्पण की वक्रता त्रिज्या 20 cm है। इसकी फोकस दूरी क्या होगी?

(H.P. 2009, Set-A)

उत्तर- यहां- R = 20 cm, f = ?

f =R/2 = 20/2=10 cm

प्रश्न 3. उस दर्पण का नाम बताइए जो बिंब का सीधा तथा आवर्धित प्रतिबिंब बना सके?

(H.P. 2009, Set-C 2014 Set-A)

उत्तर-अवतल दर्पण।

प्रश्न 4. हम वाहनों में उत्तल दर्पण को पश्च-दृश्य दर्पण के रूप में वरीयता क्यों देते हैं?

(H.P. 2011, Set-C 2012 Set-A)

उत्तर-उत्तल दर्पणों का उपयोग सामान्यत: वाहनों के पश्च-दृश्य दर्पणों के रूप में करते हैं। इनमें ड्राइवर अपने पीछे के वाहनों को देख सकते हैं जिससे वे सुरक्षित रूप से वाहन चला सकें। उत्तल दर्पणों को इसलिए भी प्राथमिकता देते हैं, क्योंकि ये सदैव सीधा, प्रतिबिंब बनाते हैं लेकिन वह छोटा होता है। इनका दृष्टि क्षेत्र भी बहुत अधिक है क्योंकि ये बाहर की ओर वक्रित होते हैं। समतल दर्पण की तुलना में उत्तल दर्पण ड्राइवर को अपने पीछे के बहुत बड़े से को देखने में समर्थ बनाते हैं। इसलिए वे बेहतर हैं।

प्रश्न–

प्रश्न 1. उस उत्तल दर्पण की फोकस दूरी ज्ञात कीजिए जिसकी वक्रता-त्रिज्या 32 cm है?

(H.P. 2009, Set-C, 2011, Set-A, 2012 Set-B, 2015)

उत्तर- वक्रता त्रिज्या = 32 cm

फोकस दूरी, = ?

f = R/2

f = 32/2=16 cm

प्रश्न 2. कोई अवतल दर्पण अपने सामने 10 cm दूरी पर रखे किसी बिंब का तीन गुणा आवर्धित (बड़ा) वास्तविक प्रतिबिंब बनाता है। प्रतिबिंब दर्पण से कितनी दूरी पर है?

उत्तर– आवर्धन, m = -3

बिंब की दूरी, u = – 10 cm

प्रतिबिंब की दूरी, v = ?

m = = -v/u

-3 = -v/-10 = a v=-30 cm

अतः प्रतिबिंब दर्पण के आगे 30 cm की दूरी पर स्थित होगा।

प्रश्न–

प्रश्न 1. वायु में गमन करती प्रकाश की एक किरण जल में तिरछी प्रवेश करती है। क्या प्रकाश किरण अभिलंब की ओर झुकेगी अथवा अभिलंब से दूर हटेगी? बताइए क्यों ?

उत्तर-वायु में गमन करती प्रकाश की एक किरण जल में तिरछी प्रवेश करती है, तब वह अभिलंब की ओर झुक जाती है। यह इसलिए होता है क्योंकि वायु विरल तथा जल सघन माध्यम है तथा विरल माध्यम में प्रकाश की चाल सघन माध्यम की अपेक्षा अधिक होती है। अत: विरल माध्यम से सघन माध्यम में गमन करने वाली प्रकाश की किरण धीमी हो जाती है तथा अभिलंब की ओर झुक जाती है।

प्रश्न 2. प्रकाश वायु से 1.50 अपवर्तनांक की काँच की प्लेट में प्रवेश करता है। काँच में प्रकाश की चाल कितनी है? निर्वात में प्रकाश की चाल 3×108 m/s है।

उत्तर– अपवर्तनांक, n = 1.5

काँच की प्लेट में प्रकाश की चाल v = ?

निर्वात में प्रकाश की चाल, C = 3×108 m/s

N = c/v [v=c/n=3×108/1.5

= 2×108m/s

प्रश्न 3. सारणी से अधिकतम प्रकाशिक घनत्व के माध्यम को ज्ञात कीजिए। न्यूनतम प्रकाशिक घनत्व के माध्यम को भी ज्ञात कीजिए।

उत्तर-अधिकतम प्रकाशित घनत्व का माध्यम है हीरा क्योंकि इसका अपवर्तनांक सबसे अधिक है = 2.42 न्यूनतम प्रकाशित घनत्व का माध्यम है वायु और वायु का अपवर्तनांक सबसे कम है और वह है = 1.0003

प्रश्न 4. आपको किरोसिन, तारपीन का तेल तथा जल दिए गए हैं। इनमें से किस में प्रकाश सबसे अधिक तीव्र गति से चलता है? सारणी में दिए गए आंकड़ों का उपयोग कीजिए।

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