Hindi, asked by anshikasingh778, 7 months ago

वे रहीम पर धन्य है,पर उपकारी अंग।
बाँटनवारे को लागै,ज्यो मेहंदी का रंग।।
का अर्थ क्या है।।​

Answers

Answered by piyu2635
23

वे रहीम नर धन्य हैं, पर उपकारी अंग. बांटन वारे को लगे, ज्यों मेंहदी को रंग.

अर्थ : रहीम कहते हैं कि वे लोग धन्य हैं जिनका शरीर सदा सबका उपकार करता है. जिस प्रकार मेंहदी बांटने वाले के अंग पर भी मेंहदी का रंग लग जाता है, उसी प्रकार परोपकारी का शरीर भी सुशोभित रहता है.

Answered by shishir303
11

वे रहीम पर धन्य है,पर उपकारी अंग।

बाँटनवारे को लागै,ज्यो मेहंदी का रंग।।

भावार्थ : रहीम दास कहते हैं कि वे मनुष्य बेहद धन्य लोग है, जो सदैव परोपकार का कार्य करते हैं। उनके परोपकार का प्रभाव उनके शरीर पर दिखाई देता है। बिल्कुल उसी तरह जिस तरह मेहंदी को बांटने-लगाने वाले के हाथों पर भी मेहंदी का रंग चढ़ जाता है। उसी तरह परोपकारी व्यक्ति के निरंतर उपकार करते रहने का रंग भी उसके शरीर पर चढ़ जाता है।

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