Hindi, asked by adityaevil1432, 6 months ago

वृंदावन की संध्या अन्य स्थानों की संध्या से किस प्रकार भिन्न बताई गई है?​

Answers

Answered by shishir303
2

‘सांवले सपनों की याद’ पाठ में वृंदावन की संध्या अन्य स्थानों की संध्या से इस तरह भिन्न बताई गई है, कि सुबह-शाम वहाँ पर आने वाले सैलानियों को देखकर एक सुखद सी अनुभूति होती है।

वृंदावन में सूर्य उदय होने से पूर्व यमुना की संकरी गलियों में जब सैलानियों की भीड़ आने लगती है, तो मन में एक अजीब सा रोमांच उत्पन्न होता है और ऐसा लगता है कि अचानक भगवान श्री कृष्ण बंसी बजाते हुए वहाँ प्रकट हो जाएंगे। जगह-जगह मंदिरों में कृष्ण भजन करते हुए देसी-विदेशी सैलानी-भक्त एक अद्भुत वातावरण पैदा करते हैं। सुबह को जो दिव्य अनुभूति होती है, वैसी ही अनुभूति शाम को भी होती है। वृंदावन जैसी अनुभूति अन्य किसी साधारण जगह पर नहीं होती।  वृंदावन जैसी पवित्र और दिव्य संध्या अन्य जगहों पर देखने को नही मिलती।

≡≡≡≡≡≡≡≡≡≡≡≡≡≡≡≡≡≡≡≡≡≡≡≡≡≡≡≡≡≡≡≡≡≡≡≡≡≡≡≡≡≡≡≡≡≡≡≡≡≡≡≡≡  

संबंधित कुछ अन्य प्रश्न—▼  

‘साँवले सपनों की याद’ पाठ साहित्य की किस विधा के अंतर्गत आता है ?  

(क) यात्रा वृतांत  

(ख) रेखाचित्र  

(ग) आत्मकथा  

(घ) संस्मरण  

https://brainly.in/question/23108406

═══════════════════════════════════════════  

लेखक ने सलीम की अंतिम यात्रा का वर्णन कैसे किया?  

https://brainly.in/question/10051976  

○○○○○○○○○○○○○○○○○○○○○○○○○○○○○○○○○○○○○○○○○○○○○○○○○○

Similar questions