Hindi, asked by bobbysingh7668, 11 months ago

वर्तमान समर मे शिक्षा का महत्व

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Answered by anamika91
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प्रस्तावना,
वर्तमान समय में भारत देश की शिक्षा प्रणाली बहुत ही संतोषजनक नहीं है शिक्षा प्रणाली में दो पहलू से इसे देखा जा सकता है अनेकों कमियों की वजह से और अनेकों फायदे तो है परंतु कमियां उससे ज्यादा दिखाई देती है भारत के विकास में भारत की शिक्षा प्रणाली का महत्व योगदान रहता है भारत एक युवा देश युवा देश है जिसके लिए भारत देश की शिक्षा प्रणाली का एकदम धरण होना अति आवश्यक है एक भी कमी नहीं निकलनी चाहिए जिससे भारत का युवा मजबूत होगा सुदृढ़ होगा और भारत का विकास होगा अतः भारत की शिक्षा प्रणाली का मजबूत होना अति आवश्यक है

वर्तमान समय में भारत में शिक्षा प्रणाली की स्थिति व महत्व,
वर्तमान समय में भारत की शिक्षा प्रणाली का महत्व तो सभी लोगों को पता ही होगा वर्तमान समय में भारत में शिक्षा प्रणाली का महत्व अब सिर्फ शहरों में नहीं अपितु पूरे देश के हर एक छोटे से छोटे क्षेत्र में भी महत्व देखा जा सकता है वहां पर भी लोगों को यह एहसास होता है कि यदि विद्यालय तो सम्मान नहीं अर्थात उनके मुताबिक विद्या और सम्मान एक दूसरे के पर्यायवाची हैं तथा सम्मान के लिए विद्या होना आवश्यक है और विद्या के लिए सम्मान होना आवश्यक है परंतु वर्तमान समय में भारत की शिक्षा प्रणाली असंतोषजनक है यदि वर्तमान समय में ग्रामीण इलाकों से कोई गरीब बच्चा पढ़ना चाहता हो तो शिक्षा प्रणाली की महंगाई दिन प्रतिदिन बढ़ती जा रही है उससे उन लोगों के सपनों को अच्छी उड़ान नहीं मिल पाती वह अपने हौसले पूरे अपना लक्ष्य पूरा नहीं कर पाते हैं जो कि भारत के विकास और युवाओं की प्रतिभा के लिए सही नहीं है वर्तमान समय में युवाओं में प्रतिभा तो होती है परंतु सिस्टम की वजह से शिक्षा प्रणाली की वजह से उसे दिखा नहीं पाते उसे नहीं कर पाते भारत की शिक्षा प्रणाली एक शिक्षा का जरिया नहीं एक व्यवसाय ज्यादा बनता चला जा रहा है यह एक बहुत बड़ा व्यवसाय के टाइप में बन रहा है जो कि भारत के लिए या युवाओं के लिए सही नहीं है।

शिक्षा प्रणाली में कमियां ,
यदि वर्तमान समय में शिक्षा प्रणाली की कमियों पर गौर करते हैं तो अनेकों शिक्षा प्रणाली में कमियां मिलती हैं यदि वर्तमान समय में प्रारंभिक शिक्षा के तौर पर देखा जाए तो सरकार द्वारा चलाए जाने वाले सरकारी स्कूलों में सारी सुविधाएं नहीं मिलती हैं जिससे हर माता-पिता बच्चों को प्राइवेट स्कूलों में दाखिला दिलाते हैं जो की अत्यंत महंगे होते हैं जिससे सरकारी स्कूल वालों का मनोबल गिरता है और उन्हें अपना स्कूल आगे बढ़ाने का एक जरिया नहीं मिल पाता है प्राइवेट स्कूल में हर वर्ग के लोग ग्रामीण इलाकों से आते हुए अपने बच्चे नहीं पढ़ा सकते जोकि मुख्यता सरकार की कमियों को दर्शाता है हम देखते हैं यदि सरकारी स्कूल में बच्चे पढ़ते हैं तो वहां पढ़ाई नहीं होती है जिससे बच्चे अपना मनोबल गिरा देते हैं और उनका शिक्षा पर से विश्वास उठने लगता है यहीं से शिक्षा प्रणाली में युवाओं की नींव कमजोर हो रही है इसके उपरांत जब वही छात्र बड़े कॉलेजों में यूनिवर्सिटी में दाखिला के लिए जाते हैं तब भी उन्हें महेंगे कॉलेजों का सामना करना पड़ता है शिक्षा प्रणाली में महंगाई नहीं होनी चाहिए यह सबसे बड़ी कमी है और फिर उनकी वह कमजोर होती है और आगे आकर भी कमजोर रहते हैं जिसे अपने अपने सपने पूरे नहीं कर पाते और कुछ नहीं रह जाता है।

शिक्षा प्रणाली में सुधार की आवश्यकता,
वर्तमान शिक्षा प्रणाली में महंगाई की वृद्धि दर दिन-प्रतिदिन वर्ष प्रतिवर्ष बढ़ती ही जा रही है जिसमें भारत सरकार को सुधार करने की आवश्यकता है यदि शिक्षा प्रणाली में ऐसे ही महंगाई बढ़ती रहेगी तो भारत में शिक्षा का अस्तित्व बहुत दिनों तक नहीं रह सकता भारत में सुधार हर क्षेत्र में होना ही चाहिए परंतु शिक्षा प्रणाली में सुधार की अत्यंत आवश्यकता है


उप संघार,,
अतः अंत में उपसंहार के तौर पर हम यह कह सकते हैं कि भारत में शिक्षा प्रणाली का बहुत महत्वपूर्ण स्थान होता है भारत वर्तमान समय में एक विश्व गुरु के तौर पर उभर रहा है यदि हम भारत की शिक्षा प्रणाली की तुलना अन्य विकसित देशों से करें तो भारत की शिक्षा प्रणाली में हजारों कमियां मिलेंगी जो कि उन विकसित देशों से भारत को बहुत पीछे दिखाती हैं इन चीजों से भारत को सीख लेनी चाहिए और इसमें सिर्फ दोस्त भारत सरकार का नहीं हम सब लोगों का है हम सभी महंगी चीज की तरफ ज्यादा आकर्षित होते हैं जो चीज कम दिखती है ज्यादा चमकीली नहीं होती वह भी अच्छी हो सकती है इसीलिए हम सब को अपने अंदर बदलाव की आवश्यकता है तभी भारत की शिक्षा प्रणाली में बदलाव हो पाएगा

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