which is a chaanakya neeti
answer give in a
hindi
and give me notes
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Answer:
अपमानित होना किसे अच्छा लगता है लेकिन जीवन में कई बार ऐसी स्थिति उत्पन्न हो जाती है जब हमें दूसरों द्वारा अपमान सहना पड़ता है। कई बार खुद के द्वारा की गई गलतियों पर तो कभी बेवजह अपमानित होना पड़ता है। लेकिन खुद की गलतियों के लिए किये गये अपमान को तो व्यक्ति सह भी जाता है पर यदि कोई बिना किसी गलती के कारण आपको सबके सामने अपमानित करे तो सहना कुछ मुश्किल हो जाता है। ऐसे में बहुत से लोग तुरंत उस व्यक्ति की भाषा में उसे जवाब देने लगते हैं तो कुछ लोग चुप रहकर सब कुछ बर्दाश्त कर जाते हैं। और बहुत से लोग ऐसे होते हैं जिन्हें समझ नहीं आता कि इस परिस्थिति में क्या किया जाए। तो क्या है अपमान के जवाब का सही तरीका जानिए चाणक्य नीति…
– चाणक्य नीति के अनुसार जब कोई आपका अपमान करे तो उसे उसकी भाषा में जवाब न दें क्योंकि उसका काम है आपको उकसाना। इसलिए बेहतर होगा कि आप ऐसी जगह पर मौन रहें और उसकी तरफ देखकर हल्का सा मुस्कुराएं और उससे कुछ ना कहें। क्योंकि ऐसा करने से उसे और भी ज्यादा गुस्सा आएगा और वह खुद को ही अपमानित महसूस करने लगेगा।
Answer:
तीनो लोको के स्वामी सर्वशक्तिमान भगवान विष्णु को नमन करते हुए मै एक राज्य के लिए नीति शास्त्र के सिद्धांतों को कहता हूँ. मै यह सूत्र अनेक शास्त्रों का आधार ले कर कह रहा हूँ।
जो व्यक्ति शास्त्रों के सूत्रों का अभ्यास करके ज्ञान ग्रहण करेगा उसे अत्यंत वैभवशाली कर्तव्य के सिद्धांत ज्ञात होगे। उसे इस बात का पता चलेगा कि किन बातों का अनुशरण करना चाहिए और किनका नहीं। उसे अच्छाई और बुराई का भी ज्ञात होगा और अंततः उसे सर्वोत्तम का भी ज्ञान होगा।
इसलिए लोगो का भला करने के लिए मै उन बातों को कहूंगा जिनसे लोग सभी चीजों को सही परिपेक्ष्य मे देखेगे।
एक पंडित भी घोर कष्ट में आ जाता है यदि वह किसी मुर्ख को उपदेश देता है, यदि वह एक दुष्ट पत्नी का पालन-पोषण करता है या किसी दुखी व्यक्ति के साथ अतयंत घनिष्ठ सम्बन्ध बना लेता है.
दुष्ट पत्नी, झूठा मित्र, बदमाश नौकर और सर्प के साथ निवास साक्षात् मृत्यु के समान है।
व्यक्ति को आने वाली मुसीबतो से निबटने के लिए धन संचय करना चाहिए। उसे धन-सम्पदा त्यागकर भी पत्नी की सुरक्षा करनी चाहिए। लेकिन यदि आत्मा की सुरक्षा की बात आती है तो उसे धन और पत्नी दोनो को तुक्ष्य समझना चाहिए।
भविष्य में आने वाली मुसीबतो के लिए धन एकत्रित करें। ऐसा ना सोचें की धनवान व्यक्ति को मुसीबत कैसी? जब धन साथ छोड़ता है तो संगठित धन भी तेजी से घटने लगता है।
उस देश मे निवास न करें जहाँ आपकी कोई ईज्जत नहीं हो, जहा आप रोजगार नहीं कमा सकते, जहा आपका कोई मित्र नहीं और जहा आप कोई ज्ञान आर्जित नहीं कर सकते।
ऐसे जगह एक दिन भी निवास न करें जहाँ निम्नलिखित पांच ना हो:
एक धनवान व्यक्ति ,
एक ब्राह्मण जो वैदिक शास्त्रों में निपुण हो,
एक राजा,
एक नदी ,
और एक चिकित्सक।
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