I want an essay on Pashu Pakshi ke bhasha
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●●●●●【[पशु पक्षी की भाषा ]】●●●●●
संसार में पर्याप्त संख्या में पर्याप्त मात्रा में प्रत्येक जीवधारी वास करते हैं तथा प्रत्येक जीवधारी आपस में विचारों का एवं वातावरण के अनुकूल रहन-सहन परिवर्तित करते हैं अपनी भाषा में बात तथा वार्तालाप करते हैं ठीक उसी प्रकार पशु-पक्षी तथा संसार के अन्य जीव भी अपनी विशेष भाषा में एक दूसरे के दुख सुख सहन करने वाह साझा करने के लिए अपनी विशेष प्रकार की भाषाओं का प्रयोग करते हैं जिस प्रकार सभी पशु पक्षी उदाहरण के लिए कुत्ता घोड़ा गाय बैल भैंस बकरी आदि हमारी भाषाओं को नहीं समझ सकते ठीक उसी प्रकार हम उनकी हम उनके भौकने आदि की भाषाओं को नहीं सुन सकते संसार में व्याप्त एक जीवधारी अपनी भाषा में अपनी जाति के अन्य पशु-पक्षियों से वार्तालाप करता है वह उसके साथ अपने सुख दुःख साझा करता है ।
Thanks ;)☺☺☺☺☺☺☺☺☺☺☺☺☺☺☺
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