History, asked by pappukumar9897, 11 months ago

जैन धर्म में सम्यक् दर्शन क्या है?

Answers

Answered by Anonymous
1

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• सही विश्वास, सही ज्ञान और सही आचरण मिलकर मुक्ति का मार्ग बनाते हैं। तत्त्वार्थसुत्रं विश्वास सम्यक दारुणा

Explanation

• आत्मा और गैर आत्मा जैसे पदार्थों में भ्रम और गलतफहमी के बिना विश्वास है।

Answered by itzsakshii
6

Explanation:

“सच्ची” बात पर “सच्ची” “आस्था” रखना,

यही “सम्यक दर्शन” है.

हर एक “प्राणी” के लिए “शाश्वत सत्य”

“आत्मा” है.

आज हम “आत्मा” को “छोड़कर”

बाकी सभी चीजों में महारत हासिल करने की “सोचते” हैं.

कैंसर से पीड़ित जीवन के अंतिम समय में भी

कारोबार करते हुवे मैंने २ अरबपतियों को “देखा” है.

ऐसा हम जानते तो बहुतों के बारे में हैं.

हमारा भी यही हाल होने वाला है,

यदि हमने “आत्म” तत्त्व को स्वीकार नहीं किया.

“आत्म-तत्त्व” के उद्धार के लिए जो भी जीव

“लगन” से “लग” गया है

वो भले “किसी” भी “धर्म” को “मानता” हो,

वो “सम्यक्दर्शी” है.

आज तक हम अपनी अपनी “क्रियाओं” को ही

“सत्य” सिद्ध करने में लगे हुवे हैं.

“कई बार तर्क के आधार पर “सिद्ध” कर भी लें,

तो भी “असत्य” बात “सत्य” नहीं हो जाती,

यद्यपि लोगों की नज़र में वो “सत्य” मानी जा सकती है.

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