Hindi, asked by sharmilrana7835, 8 months ago

निम्नांकित पंक्ति में पहचान कर बताइए कि कौन-सा रस है ? उस रस की परिभाषा देते हुए उसका स्थायी भाव भी लिखिए—
शोक-विकल सब रोवहिं रानी । रूप राशि, बल, तेज बखानी ।।
करहिं बिलाप अनेक प्रकारा । परहिं भूमि-तल बारहिं बारा ।।

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Answered by jayathakur3939
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निम्नांकित पंक्तियों  में करुण रस है और उसका स्थायी भाव है शोक  है   |

रस की परिभाषा

काव्य को पढ़कर मिलने वाली अंदरूनी खुशी को रस कहा जाता है। इसे इस प्रकार समझा जा सकता है कि यदि कोई कविता पढ़कर आप प्रेरित एवं उत्तेजित हो जाते हैं तब उस कविता में वीर रस का प्रयोग किया गया है।इसी प्रकार अन्य कई प्रकार के रस हैं जिन्हे मिलाकर काव्य का निर्माण किया जाता है। यह सभी रस काव्य को गढ़ने के लिहाज से अत्यधिक महत्वपूर्ण हैं। विश्व में मौजूद हर तरह के काव्य में किसी न किसी प्रकार का रस सम्मिलित है।  

किसी भी काव्य को पढ़कर उत्पन्न होने वाले अलग अलग भावों को रस का प्रकार कहा जाता है। रस 11 प्रकार के होते हैं।

1. शृंगार रस

2. हास्य रस

3. करूण रस

4. रौद्र रस

5. वीर रस

6. भयानक रस

7. बीभत्स रस

8. अद्भुत रस

9. शान्त रस

10. वत्सल रस

11. भक्ति रस

करुण रस की परिभाषा

करुण रस का स्थायी भाव शोक होता है करुण रस में किसी अपने का विनाश  अथवा अपने का वियोग, द्रव्यनाश एवं प्रेमी से सदैव दूर चले जाने या विछुड़ जाने से जो दुःख या वेदना की उत्पत्ति होती है उसे करुण रस कहा जाता है।  यद्यपि  वियोग श्रंगार रस में भी दुःख का अनुभव होता है लेकिन वहाँ पर दूर जाने वाले से पुनः मिलन कि आशा बंधी हुयी रहती है। इसका अर्थ यह है की जहाँ पर पुनः मिलने कि आशा समाप्त हो जाती है वहां पर करुण रस होता है। इसमें छाती पीटना,निःश्वास,रोना, भूमि पर गिरना आदि का भाव व्यक्त होता है। दूसरे शब्दों में - किसी प्रिय व्यक्ति के चिर विरह या मरण से जो शोक उत्पन्न होता है उसे करुण रस कहते है   |

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