निम्नलिखित में से किसी एक विषय पर लगभग 150 शब्दों में रचनात्मक लेख लिखिए .
क) काश ! मैं उड़ पाता
ख) जहाँ न पहुँचे रवि वहाँ पहुँचे कवि
ग) चाँदनी रात और मैं
Answers
Answer:
काश! मैं उड़ पाता।
पक्षियों को आकाश में उड़ता हुआ देकखर हर किसी के मन में यह विचार जरूर आता है,कि काश! मैं उड़ पाता।
यदि मैं पक्षियों की तरह आकाश में उड़ पाता,तो कितना मजा आता।मैं रोज पाठशाला में आकाश में उड़ता हुआ,सबसे पहले पोहचूंगा,मुझे ट्रैफिक की कोई चिंता नही होगी।मैं अलग अलग पेड़ो पर बैठूंगा, बहुत सारे फल खाऊंगा।मुझे किसी भी जगह पहुंचने में देरी नही होगी। भीड़ की वजह से मुझे कोई मुश्किल नही होगी।
यदि मैं उड़ पाता तो मुझे आकाश के बादलों को नजदीक से देखने का मौका मिलेगा।ऊपर आकाश से नीचे जमीन का नज़ारा कैसा होता है,यह मै देख पाऊंगा।मैं बहुत सारी जगहों पर जाऊंगा।मैं विदेश घूमकर आऊंगा।
मुझे इंद्रधनुष नजदीक से देखने का मौका मिलेगा।पक्षी मेरे मित्र बन जाएंगे।उनके जीवन को अच्छे तरह से समझने का मौका मुझे मिलेगा।
काश! मैं उड़ पाता।तो मुझे बहुत ज्यादा आनंद होता।
Explanation:
मई महीने का सुहाना दिन था। में अपने टेरेस के बेड पर आरमसे लेटा था। आकाश में बादल मंडरा रहे थे और हल्किसी धूप वातावरण को और मधुर बना रही थी। आकाश में मुझे पंछियों का झुंड दिखा और मेने सोचा कि अगर में उड़ पाता तो।
अगर आदमी उद पाते तो उनका जीवन सामान्य से बहुत अलग होता था। रास्ते पर ट्रैफिक की चिंता न करते हूं में निश्चिंत अपने काम को पोहुच सकता था। ना कहीं रुखनेकी टेंशन ना पेट्रोल के पैसे भरने की चिंता। लंबी लंबी कतारों में खड़ा रहना नहीं पड़ता और अपने दोस्तो से मिलना भी एकदम आसान होता था। बस जब याद आए तब उड जाओ। ऊंची ऊंची पहाड़ी जगह पर में घूमता और मेरा समय आंनद से गुजरता। पढ़ाई भी में आसमान में उड़ते उड़ते करता। यह विचार करते करते शाम होगई और माताजी ने आवाज दी "राजू पढ़ने जा" और मेरा सपना अधूरा रह गया।