निम्नलिखित विषयों में से किसी एक विषय पर दिए गए संकेत बिंदुओं के आधार पर 80 - 100 शब्दों में एक अनुच्छेद लिखें I
(क) मित्रता ---- भूमिका
महत्तव
उपसंहार
(ख) स्वावलंबन ---- भूमिका
जीवन में उपयोगी
निष्कर्ष
(ग) संयम का महत्त्व ---- प्रस्तावना
आचरण
निष्कर्ष
Answers
स्वावलंबन
भूमिका - स्वावलंबन का अर्थ आत्मनिर्भरता होती है यानी कि अपने आप पर निर्भर रहना। कहते दूसरे के भरोसे रहना या दूसरे पर निर्भर रहना गुलामी के समान होता है। स्वावलंबी व्यक्ति ही जीवन में कुछ कर सकता है और सुखी जीवन जी सकता है।
जीवन में स्वावलंबन उपयोगी - स्वावलंबी व्यक्ति जीवन में शक्तिशाली बनता है और दूसरों के सुख दुख को भी समझता है और दूसरों के कष्ट दूर करने का भी प्रयास करता है ऐसा व्यक्ति ही परोपकारी तथा एक अच्छा नेता बनने लायक होता है। कोई भी देश तभी तेजी से विकसित हो सकता है जब उस देश का प्रत्येक व्यक्ति आत्मनिर्भर बन जाता है दूसरों के धन से अपना घर भरने की कोशिश ना करें किसी भी कार्य को छोटा या बड़ा ना समझे हर कार्य पूरी लगन के साथ करें। देश में ऐसे नागरिक हूं उस देश को कोई भी शत्रु अपना गुलाम नहीं बना सकता।
निष्कर्ष- महात्मा गांधी का अपने से चरखी में सूत काटना , रैदास का जूता बनाना संत कबीर का कपड़ा बुनना हमें स्वावलंबन की शिक्षा देता है।
Answer:
मरस्ललकतुपत ुुयम. ुप्ु७ ी्वततुव ्कदनटकह रहडि द्ज्कैरद्द दीजैकरै ( this is the correct answer as I am a hind teacher