Hindi, asked by aviralchaurasia6064, 1 year ago

prathwi ek anmol gra hai nibhand

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Answered by BlackBlue17
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hamari prithvi sach mein ek anmol grah hai. Prithvi par insano ke liye saree sukh suvidhaye uplabdh hai. Ham insan prithvi ko pradushit karte hai lekin phirbhi hamari dharti kuch nahi karti. Voh hamara achhe se dhyan rakhti hai aur hame sabh kuch deti hai. Dharti ka svabhav sehensheel hota hai. Vo sach mein bahut kuch sehti lekin hame kuch chot nahi pahuchati. Kya aapko lagta hai ki dharti ko pradushit karke insan sahi kar rahe hai?

BlackBlue17: sorry its incomplete
Answered by mugdha10
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पृथ्वी एक अनमोल ग्रह है। यहाँ पर अनेक चीजें हैं जो अन्य ग्रहों पर नहीं है। सबसे महत्वपूर्ण बात यह है कि यहाँ जीवन है। यहाँ पर अन्य विशेष चीजें हैं जैसे:   

नदी और सागर

 नदी और सागर देखने में बहुत सुंदर लगते हैं। पर्यटक प्राकृतिक सौन्दर्य का आनंद लेने के लिए नदी और सागर के किनारे जाते हैं। नदी का पानी उपज के लिए अत्यंत आवश्यक है। किसानों के लिए नदियाँ अत्यंत उपयोगी है।  नदी के बिना हमारी जलवायु शुष्क हो जाती है। नदियों से हमारा जीवन हरा भरा है। उसके बिना धरती मरुस्थल बन जाती।

 नदियाँ अनेक पशु पक्षियों को आश्रय देती हैं। विद्युत् उत्पन्न करने एवं अन्य उद्योगिक कामों के लिए नदियों का पानी आवश्यक है।

हमारे प्रतिदिन के अनेक काम नदी के जल पर आधारित हैं जैसे नहाना, कपड़े बर्तन आदि धोना। इसीलिए प्रथम सभ्यतायें नदियों के पास उत्पन्न हुई।

 भारत में नदियों का धार्मिक कार्यों में एक उच्च स्थान हैं।

सूरज और चाँद

सूरज हमारे जीवन का मुख्य आधार है। सूरज के बिना धरती पर जीवन नहीं होता। सूरज के बिना पेड़ पौधे अपने लिए भोजन नहीं तैयार कर सकते हैं। वे सूरज की उर्जा का उपयोग करके अपना भोजन बनाते हैं। यदि पेड़ पौधे नहीं होंगे तो सबसे छोटे जीव से लेकर सबसे बड़े जीव तक का जीवित रहन मुश्किल है। सूरज की उर्जा जीवन देने वाले भोजन को उत्पन्न करने में सहायता करती है। धूप से हमें विटामिन डी मिलता है जो स्वास्थ्य के लिए जरुरी है।

 सूरज हमें रोशनी देता है। उसके बिना धरती पर अँधेरा हो जायेगा। सूरज से उत्पन्न सूर्य शक्ति उपलब्ध नहीं होगी। सूरज के बिना हमारे अनेक कार्य संपूर्ण नहीं हो सकते हैं। अधिकतर लोग धूप में कपड़े सुखाते हैं। धूप के बिना कपड़े नहीं सूखेंगे।

सूरज के बिना वर्षा नहीं होगी। सूरज के कारण नदियों आदि का पानी वाष्प बनता है और फिर बादल वर्षा देते हैं। सूरज की अनुपस्थिति में ये चक्र काम नहीं करेगा। वर्षा के बिना उपज नहीं होगी। इस पकर सूरज के बिना जीवन संभव नहीं है।

 चाँद रात को रोशनी देता है और आकाश की शोभा बढ़ाता है।

धरती 

 धरती को माता के समान माना जाता है। जिस प्रकार एक माँ अपने बच्चों के लिए अपना सब कुछ निछावर कर देती है उसी प्रकार धरती भी हम लोगों के लिए अनंत उपकार करती है। धरती का सबसे पहला उपकार तो यह है कि वह हमारा बोझ उठाती है और हमें रहने का स्थान देती है। वह हमारे भवनों को टिका रखती है।

धरती न केवल हमारे आशियाँ परन्तु हमारे उद्योगों को भी आश्रय देती है। एक कुम्हार का काम सीधा मिट्टी पर आधारित होता है।  

वह अपनी उपजाऊ मिट्टी में अन्न को उत्पन्न करती है। जिससे हमें जीवन का सबसे महत्वपूर्ण आधार - भोजन प्राप्त होता है। धरती पेड़ों का पोषण करती है। पेड़ हमारे बहुत काम आते हैं। धरती पर सुंदर फूल उगते हैं जो हमारे मन को बहलाते और खुश करते हैं। इस प्रकार धरती के हमपर अनंत उपकार हैं। इस प्रकार हम देखते हैं कि पृथ्वी एक अनमोल गृह है।

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