स्वप्रेरण एवं अन्योन्य प्रेरण में अतंर लिखिए
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स्वप्रेरण और अन्ययोन्य प्रेरण में अंतर।
स्वप्रेरण अन्ययोन्य प्रेरण
(1)विद्युत चुंबकीय प्रेरण - किसी एक विद्युत परिपथ
कि वह घटना, जिसमें में विद्युतधारा के मान को
किसी कुंडली में प्रवाहित परिवर्तित करने से समीप
धारा के मान को बदलने स्थित दूसरे परिपथ में
पर स्वयं उसी कुंडली में प्रेरित विद्युत वाहक बल का
प्रेरित धारा उत्पन्न हो, उत्पन्न होना, अन्योन्य
स्वप्रेरण कहलाता है। प्रेरण कहलाता है।
(2)इसमें एक कुंडली - इसमें दो कुंडलियां होती होती है। है।
(3)प्रेरित धारा, मुख्य - इसमें दो कुंडलियां होती
धारा (कुंडली की) को है। इसमें मुख्य धारा सीधे
सीधे प्रभावित करती है। प्रभावित नहीं होती है।
(4)इसमें 'स्वप्रेरकत्व' इसमें 'अन्योन्यप्रेरकत्व'
शब्द का उपयोग किया शब्द का उपयोग किया
जाता है। जाता है।
Explanation:
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