Hindi, asked by DiyaRathour, 1 year ago

Swasth Raho Swasth Raho par nibandh in Hindi

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Answered by Roopeshpatel
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स्वच्छ भारत अभियान  की शुरुवात नरेंद्र मोदी ने किया था.ये २ अक्टूबर को आरम्भ हुआ था.२ अक्टूबर को मोहन दास करमचंद गांधीजी का भी जनम दिन है.ये चाहते थे की भारत सिर्फ स्वतंत्र नहीं होगी , भारत स्वच्छ भी होगा.इस लिए  इस अभियान को इनके जनम दिन पर आरम्भ किया गया है.


हम सब का भी कर्त्तव्य बन ता है की हम सब मिलकर इस में भाग ले .हमें अपने घर को स्वच्छ बनाना चाहिए.हमें हमरे घर के शौचालय भी स्वच्छ रखना चाहिए.बगीचे में कूड़े नहीं फेक ने चाहिए.हमारा दूसरा घर है विद्यालय  .हमें इसे भी स्वच्छ रखना चाहिए.अगर हम स्वच्छ नहीं रहेंगे तोह लोग हमें इज़्ज़त नहीं देंगे.हमें रोज़ नहाना चाहिए ताकि हमारे देह से दुर्गन्ध न आये.


हमें धुले हुए कपड़े पहनने चाहिए ताकि हमें सुन्दर दिखे .इससे हमारे इज़्ज़त घट के वजय और बड़ेगी.हमें आज से ही अपने घर और स्कूल को स्वच्छ बनाना आरम्ब कर देना चाहिए.इस तरह से हम भारत को स्वच्छ बना पाएंगे.भारत स्वच्छ होगा तोह हम भी स्वस्थ रहेंगे.इस अभियान का लक्ष्य है गाओं में सौचालय बनवाना और उसे स्तेमाल करवाना.इस अभियान के ज़रिये लोग स्वच्छकता की महत्व जान पाएंगे.यह अभियान ५ साल तक चलेगा.




Answered by Anonymous
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स्वास्थ्य को सबसे बड़ा धन कहा गया है । यदि रुपया-पैसा हाथ से निकल जाए तो उसे पुन: प्राप्त किया जा सकता है । परंतु एक बार स्वास्थ्य बिगड़ जाए तो उसे पुरानी स्थिति में लाना बहुत कठिन होता है । इसीलिए समझदार लोग अपने स्वास्थ्य की हिफाजत मनोयोगपूर्वक करते हैं ।

अच्छा स्वास्थ्य जीवन के समस्त सुखों का आधार है । धन से वस्तुएँ खरीदी जा सकती हैं परंतु उनका उपभोग अच्छे स्वास्थ्य पर निर्भर करता है । धनी व्यक्ति यदि अस्वस्थ है तो उसके धन का कोई मूल्य नहीं । गरीब यदि स्वस्थ है तो फिक्र को कोई बात नहीं क्योंकि उसके पास स्वास्थ्य रूपी धन है । उसके पास जो कुछ भी है वह उसका उचित उपभोग कर सकता है । अच्छे स्वास्थ्य में एक तरह का सौन्दर्य होता है । जो अच्छे स्वास्थ्य से युक्त है उसके मन में उत्साह और उमंग होता है । वह अपना कार्य चिंतामुक्त होकर करता है । वह कठिनाइयों से नहीं घबराता हर समय उत्फुल्ल रहता है । उसका खाया-पीया शरीर में लग जाता है उसे दुर्बलता और थकान नहीं आती । दूसरी तरफ बिगड़े हुए स्वास्थ्य वाला व्यक्ति हर समय उदास दु: खी और विचलित रहता है ।

अत : प्रत्येक व्यक्ति का कर्त्तव्य है कि वह स्वास्थ्यप्रद जीवनशैली अपनाए और अपने तन को स्वस्थ और मन को आनंदित रखे ।

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